झारखंड जेल से समय से पहले रिहा होंगे 26 कैदी, जानिए क्यों
रांची संवाददाता
मुख्यमंत्री हेमन्त सोरेन की अध्यक्षता में आज झारखंड राज्य सजा पुनरीक्षण पर्षद की बैठक हुई। यह बैठक राज्य सजा पुनरीक्षण पर्षद की पिछली बैठक जो 04 दिसंबर 2020 को हुई थी उसी के आलोक में आयोजित की गई।
बैठक में मुख्यमंत्री हेमन्त सोरेन ने राज्य सजा पुनरीक्षण पर्षद की अनुशंसा के आलोक में 50 कैदियों कि समय के पहले कारामुक्ति हेतु विचार एवं समीक्षा के उपरांत 26 कैदियों के रिहा करने के आदेश को स्वीकृति दी। अगले कुछ ही दिनों में इन 26 कैदियों को कारा से रिहा करने की कार्रवाई की जाएगी। रिहा होने वाले सभी बंदियों के संबंध में न्यायालय, कारा अधीक्षक, एसपी एवं प्रोबशन पदाधिकारी से प्राप्त प्रतिवेदनों एवं उनके द्वारा कारामुक्त होने के उपरांत समाज पर पड़ने वाले प्रभाव का समेकित रूप से विश्लेषण करने के पश्चात मुख्यमंत्री की अध्यक्षता में यह निर्णय लिया गया। जिन बंदियों का प्रस्ताव आज की बैठक में अस्वीकृत हुआ है उनका प्रस्ताव नियमावली के अनुसार 1 वर्ष बाद पुन: विचार हेतु राज्य सजा पुनरीक्षण पर्षद की बैठक में लाया जाएगा।
मुख्यमंत्री हेमन्त सोरेन ने कहा कि अपराधी के जीवन में समाज हित के प्रति जिम्मेदारी लाना महत्वपूर्ण है। सजा काटकर बाहर आने वाले बंदियों को समाज के मुख्यधारा से जोड़कर उनके जीवन में सकारात्मक बदलाव लाने की आवश्यकता है। मुख्यमंत्री ने रिहा होने वाले कैदियों से समाज हित के लिए कार्य करने की अपील की है।
बैठक में मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव राजीव अरुण एक्का, पुलिस महानिदेशक नीरज सिन्हा, कारा महानिरीक्षक बीरेंद्र भूषण, न्यायायुक्त रांची नवनीत कुमार, प्रधान सचिव सह विधि परामर्शी संजय प्रसाद, बंदी कल्याण पदाधिकारी कमलजीत सिंह सहित अन्य अधिकारी उपस्थित थे।