
पटना संवाददाता: 50 साल से अधिक उम्र वाले सरकारी अधिकारी और कर्मचारियों की नौकरी खतरे में है . राज्य सरकार ने जबरिया रिटायरमेंट देने के लिए आला अफसरों की टीम बना दी है. 50 साल से अधिक उम्र वाले सरकारी सेवकों को अपने को काम लायक होने का सबूत पेश करना होगा नहीं तो उन्हें हटने के लिए तैयार रहना है.
इस आशय का निर्देश सरकार ने जुलाई 2020 में ही जारी कर दिया था मगर एक बार फिर दो दिन पहले सरकार ने चिट्ठी जारी कर सभी विभाग प्रधानों को इसकी सूचना दी है.
इस नियम के जद में प्रशासनिक और पुलिस दोनों महकमे के अधिकारी व कर्मचारी आएंगे.
सरकार द्वारा जारी निर्देश में कहा गया है कि जिनकी उम्र 50 साल से ऊपर हो गई है तथा उनकी कार्यक्षमता ऐसी नहीं है जिससे नौकरी में बनाए रखना न्याय संगत और लोकहित में ना हो, वैसे अधिकारियों व कर्मचारियों के काम की अव आवधिक समीक्षा कर बिहार सेवा संहिता के नियम 74 (क) के प्रावधान के अनुसार अनिवार्य सेवानिवृत्ति हेतु समितियों का गठन किया जाता है.
समूह ‘क’ वाले अधिकारियों की समिति के अध्यक्ष गृह विभाग के अपर गृह सचिव होंगे. वही ग्रुप ‘ख’ ग’ और और अवर्गीकृत कर्मचारियों के लिए गृह विभाग के सचिव की अध्यक्षता में दूसरी समिति होगी . दोनों समितियों में अध्यक्ष के अलावे दो-दो सदस्यों होंगे जो गृह विभाग के ही अधिकारी होंगे.
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